उत्तराखंड

दो दिवसीय सिक्योरिंग रिसर्च फंडिंग कार्यशाला शुरू

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श्रीनगर गढ़वाल : हेमवंती नंदन बहुगुणा गढ़वाल विश्विद्यालय के चौरास परिसर स्थित एकेडमिक एक्टिविटी केंद्र में दो दिवसीय इंस्टीट्यूशंस इनोवेशन काउंसिल और रिसर्च एंड डेवलपमेंट सेल द्वारा सिक्योरिंग रिसर्च फंडिंग पर कार्यशाला का उदघाटन किया गया। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि भारतीय पेट्रोलियम संस्थान देहरादून के निदेशक डॉ. हरेन्द्र सिंह बिष्ट रहे। शुभारंभ अवसर पर डॉ. बिष्ट ने अनुसंधान के लिए अनुदान प्राप्त करने की संभावनाओं में सभी तकनीकी संभावनाओं पर जोर देते हुए कहा की रिसर्च की समस्याओं के महत्व पर जोर दिया जाय। कहा कि किसी भी शोधकर्ता के लिए यह बहुत जरूरी है कि वह संबंधित रिसर्च प्रॉब्लम की पहचान करने में अपना कितना समय दे रहा है। उन्होंने यह भी बताया कि क्या शोधार्थी द्वारा प्रस्तुत किए जाने वाले अनुसंधान प्रस्ताव सामाजिक और आर्थिक दृष्टि से उपयुक्त हैं या नहीं। साथ ही कार्यशाला में एनआईटी श्रीनगर के रजिस्ट्रार डॉ. धर्मेंद्र त्रिपाठी अति विशिष्ठ अतिथि रहे। इस दौरान उन्होंने पेटेंट और बौद्धिक संपत्ति के महत्व के बारे में बताया। उन्होंने जी आई टैगिंग की अवधारिता पर ज़ोर देते हुए कहा की शोधकर्ताओं को स्थानीय उत्पादन के बारे में जागरूक होना चाहिए और लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए सामाजिक सहयोग की शुरुआत करनी चाहिये। इस मौके पर इंस्टीट्यूशंस इनोवेशन काउंसिल और रिसर्च एंड डेवलपमेंट सेल के रोहित महर, सुरेन्द्र पुरी, भुपेन्द्र कुमार, साकेत भारद्वाज, मनीषा निगम, विवेक शर्मा, गौरव जोशी मौजूद रहे। (एजेंसी)

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