उत्तराखंड

शमसान घाट का रास्ता बनने से ग्रामीण राहत में

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नई टिहरी। प्रतापनगर क्षेत्र के तीन दर्जन से अधिक गांवों के श्मशान घाट बिलयार का संपर्क मार्ग निर्माण आजादी के 75 साल बाद ब्लाक प्रमुख प्रदीप चंद रमोला के प्रयासों से पूर्ण हुआ है। ग्रामीणों सहित ग्राम प्रधानों ने इसके लिए प्रमुख रमोला का आभार जताया है। संपर्क मार्ग न होने के चलते ग्रामीणों को जान हथेली पर रखकर शवों को घाट पर पहुंचाना पड़ता था। प्रतापनगर वासियों में क्षेत्र पंचायत सदस्य आरती कलूड़ा, निर्मला रावत, विजय सिंह रावत, अनिल रावत, प्रधान चंद्रशेखर पैन्यूली, कपिल जोशी, भीमदत्त सेमवाल, हेमराज राणा ने कहा कि दशकों से वे सिरकोली से बिलयार श्मशान घाट पैदल मार्ग निर्माण की मांग करते आ रहे है। कभी भी किसी ने इस मांग की ओर इसलिए ध्यान नहीं दिया, क्योंकि इस मार्ग के निर्माण से किसी के हित पूरे नहीं होते थे। बीडीसी में जब यह मांग रखी गई तो प्रमुख प्रदीप चंद रमोला ने इसे गंभीरता से लिया। लगभग सात दशक बाद इस मार्ग के निर्माण के लिए पंचायती राज विभाग के माध्यम से जिला योजना के तहत 3़75 लाख रूपये की राशि स्वीत करवाई। धनराशि स्वीत होने के बाद इस पैदल मार्ग का निर्माण पूरा होने पर लोगों ने प्रमुख का आभार जताया है।

 

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