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ताइवान के जल क्षेत्र में चीन ने दागीं बैलिस्टिक मिसाइलें, शुरू किया अब तक का सबसे बड़ा सैन्य अभ्यास

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ताइपे, एजेंसी। चीन ने ताइवान की घेराबंदी कर सैन्य अभ्यास शुरू कर दिया है। गुरुवार तड़के ताइवान के अलग-अलग जल क्षेत्रों में चीनी युद्घपोत और लड़ाकू विमानों ने फायरिंग की और कम से कम 11 डोंगदेंग बैलिस्टिक मिसाइलें दागीं। ताइवान ने कहा है कि वह चीन के सैन्य अभ्यास पर करीबी नजर रख रहा है। वह संघर्ष के लिए तैयार है, लेकिन फिलहाल इससे बच रहा है। उसने चीन के सैन्य अभ्यास को अवैध, गैरजिम्मेदाराना और संयुक्त राष्ट्र के नियमों के खिलाफ बताया है। यह जानकारी समाचार एजेंसी रायटर ने दी।
अमेरिकी संसद के निचले सदन प्रतिनिधि सभा की स्पीकर और डेमोक्रेटिक सांसद नैंसी पेलोसी की ताइवान यात्रा से चीन भड़का हुआ है। पिछले लगभग ढाई दशक में ताइवान की यात्रा करने वाली पेलोसी अमेरिका की सबसे बड़ी नेता रहीं। चीन ताइवान को अपना क्षेत्र बताता है और दूसरे देशों के नेताओं की वहां की यात्रा का विरोध करता है।
पेलोसी एक दिन की यात्रा के बाद बुधवार को ताइवान से रवाना हुईं। उसके कुछ घंटे बाद ही गुरुवार तड़के चीन ने ताइवान स्ट्रेट में अब तक अपना सबसे बड़ा सैन्य अभ्यास शुरू कर दिया। ताइवान के उत्तर, दक्षिण और पूरब के जल क्षेत्र में यह सैन्य अभ्यास चल रहा है। ताइवान के तटों से महज 20 किलोमीटर की दूरी पर चीनी युद्घपोत और लड़ाकू विमान चक्कर लगा रहे हैं। चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) के पूर्वी थिएटर कमान ने कहा कि ताइवान के पूर्वी तट पर कई पारंपरिक मिसाइलें दागी गई हैं। ताइवान के चारों तरफ छह अलग-अलग स्थान पर यह सैन्य अभ्यास रविवार तक चलेगा।
ताइवान के रक्षा मंत्रालय ने कहा कि चीन ने उसके जल क्षेत्र में 11 डोंगदेंग बैलिस्टिक मिसाइलें दागीं हैं। 1996 में भी चीन ने ताइवान के चारों तरफ जल क्षेत्र में मिसाइलें दागी थीं। चीन के सैन्य अभ्यास पर उसकी करीबी नजर है। चीन के युद्घपोत और लड़ाकू विमान बार-बार उसके जल और वायु क्षेत्र का उल्लंघन कर उसे परेशान कर रहे हैं। वह भी जवाब देने के लिए तैयार है, लेकिन फिलहाल वह ऐसा कुछ नहीं करना चाहता है।
ताइवान ने चीन के खिलाफ साइबर हमले का भी आरोप लगाया है। ताइवान ने कहा कि उसके कई सरकारी कार्यालयों के नेटवर्क को गुरुवार को कुछ देर के लिए हैक किया गया। उसके वायु क्षेत्र में संदिग्ध ड्रोन भी देखे गए हैं।
चीन ताइवान को अपना संप्रभु क्षेत्र बताता है। वह कई बार ताइवान पर जबरन कब्जा करने की धमकी भी दे चुका है। चीन ने गुरुवार को एक बार फिर कहा कि ताइवान के साथ मतभेद उसका आंतरिक मामला है। ताइवान की स्वतंत्रता के लिए जो भी आवाज उठाएगा या उसका समर्थन करेगा, उसके खिलाफ वह दंडात्मक कार्रवाई करेगा। सैन्य अभ्यास की निंदा करने के लिए चीन ने समूह सात यानी जी-7 के देशों के विदेश मंत्रियों को भी फटकार लगाई है।

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