उत्तराखंड

फीकल स्वजल एवं सेप्टेज मैनेजमैंट उपविधि का होगा विरोध

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बागेश्वर। फीकल स्वजल एवं सेप्टेज मैंनेजमेंट उपविधि लागू नहीं करने की मांग मुखर हो गई है। यदि यह लागू होता है तो बाजार क्षेत्र में जिन घरों में सेप्टिक टैंक नहीं है। उन पर जुर्माना लगेगा। जिसका विकल्प सीवर लाइन ही है। शनिवार को नागरिक मंच ने नगर पालिकाध्यक्ष को ज्ञापन सौंपा। उन्होंने कहा कि एक जनवरी 2022 से नगर पालिका ने फीकल स्लज एवं सेप्टेज मैंनेजमेंट उपविधि लागू करने की तैयारी की जा रही है। वर्तमान में नगर सीवेज निस्तारण की कोई व्यवस्था नहीं है। यदि यह लागू हो गया तो नगर वासियों के लिए अव्यवहारिक और उत्पीड़नकारक होगा। नगर सैकड़ों वर्ष पूर्व से बसा हुआ है। वर्तमान तक बाजार क्षेत्र का अधिकांश सीवेज आदि का निस्तारण नगर की नालियों में होता है। यहां तक कि पालिका के सार्वजनिक शौचालयों, मूत्रालयों का निस्तारण भी नालियों से होता है। नगर के वर्तमान स्वरूप में सभी घरों तक पहुंच मार्ग नहीं हैं। पूर्व निर्मित घरों में भूमिगत सेप्टिक टैंक नहीं हैं। सेप्टिक ट्रांसपोर्ट वाहन की योजना का भी लोगों को लाभ नहीं मिल सकता है। उन्होंने सीवेज निस्तारण के लिए सीवर लाइन का निर्माण करने की मांग की। नगर को सुरक्षित और प्रदूषण मुक्त बनाने में सीवर लाइन जरूरी है। इस मौके पर प्रमोद कुमार मेहता, पंकज पांडे, रमेश पांडे, जीवन लाल साह, उमेश चंद्र साह, नवीन साह, राजेद्र प्रकाश उपाध्याय, अक्षित जखवाल आदि मौजूद थे।

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