उत्तराखंड

गुरिल्लाओं ने की राज्य सरकार से नौकरी देने की मांग

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रुद्रप्रयाग। एसएसबी गुरिल्लाओं ने सरकार से राज्य के विभिन्न विभागों में नौकरी देने सहित कई मांगों पर शीघ्र कार्रवाई की मांग की है। गुरिल्लाओं का कहना है कि यदि जल्द मांगों का संज्ञान नहीं लिया गया तो, उन्हें चारधाम यात्रा में जाम के साथ ही उग्र आंदोलन के लिए बाध्य होना पडेगा। एसएसबी स्वयं सेवक कल्याण समिति उत्तराखंड ने मुख्यमंत्री पुष्कर धामी को दिए ज्ञापन में कहा कि 5 सितम्बर एवं 19 दिसम्बर 2011 को तत्कालीन मुख्य संचिव उत्तराखण्ड शासन की अध्यक्षता में सम्पन्न एक बैठक में एसएसबी स्वयंसेवकों के लिए इको टास्क फोर्स बनाए जाने का निर्णय लिया था। 10 फरवरी 2014 एवं 24 रिस्तम्बर 2016 को तत्कालीन मंत्रीमण्डल ने इको टास्क फोर्स बनाने का प्रस्ताव पारित भी किया था, लेकिन अभी तक इको टास्क फोर्स गठन की की कार्यवाही आगे नहीं बढ़ सकी। होमगार्ड एवं पीआरडी के माध्यम से विभिन्न विभागों में सेवायोजित किए जाने का निर्णय लिया गया था। इस पर अभी तक सरकार की ओर से कोई कार्यवाही नहीं हो सकी है। स्वयं सेवकों को होमगार्ड एवं पीआरडी के माध्यम से विभिन्न सरकारी विभागों में सेवा का अवसर प्रदान किया जाए। इसके अलावा आपदा प्रबन्धन, स्वैच्छिक आपदा प्रबन्धन, लोनिवि में आउट सोर्सिंग के माध्यम से नियुक्ति देने, वन विभाग की कैम्पा योजना के अन्तर्गत नियुक्ति देने, निजी सुरक्षा ऐजेंन्सियों में नियुक्ति देने की मांग गुरिल्लाओं ने प्रदेश सरकार से की है। उन्होंने कहा कि यदि मांगों पर त्वरित कार्यवाही नहीं होती है, तो गुरिल्ला बार्डर मार्च, चारधाम मार्ग यात्रा में जाम, मानसरोवर यात्रा रोकने, संसद सत्र में देहरादून दिल्ली मार्च के लिए बाध्य होना पडेगा। ज्ञापन में समिति के अध्यक्ष ब्रह्मानंद डालाकोटी, ओम प्रकाश, मोर सिंह, दौलत सिंह, उमा देवी, नारायण सिंह, जसपाल सिंह, नरेन्द्र सिंह, गौर सिंह समेत कई गुरिल्लाओं के हस्ताक्षर है।

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