उत्तराखंड

पांच सूत्रीय मांगों को लेकर पैरामिलिट्री संगठन मुखर

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बागेश्वर। पूर्व केंद्रीय सशस्त्र पैरामिलिट्री फोर्सेज कार्मिंक संगठन लंबित मांगों का निराकरण नहीं होने से आक्रोशित है। उन्होंने पांच सूत्रीय मांगों का निदान करने की मांग की है। ऐसा नहीं होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है। शनिवार को जिलाध्यक्ष मोहन सिंह कपकोटी के नेतृत्व में संगठन से जुड़े लोगों ने मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजकर भूतपूर्व सैनिकों की भांति सुविधाएं देने की मांग की। उन्होंने राज्य में निदेशालय और सभी जिलों में कल्याण एवं पुनर्वास कार्यालय खोलने, शहीदों को शहीद का दर्जा देने और उनके परिवार को सेना की भांति सुविधाएं देने की भी मांग उठाई। कार्मिकों को भवनकर में टूट प्रदान करने और जिले में केंद्रीय कल्याण भंडारी खोलने को कहा। बताया बीएसएफ, सीआरपीएफ, आइटीबीपी, एसएसबी, सीआइएसएफ के सेवानिवृत्त, कार्यरत कार्मिकों के छह हजार आश्रित परिवार राज्य में हैं। र्केटीन की सुविधा नहीं मिलने से उन्हें पिथौरागढ़, चमोली, अल्मोड़ा आदि जिलों में जाना पड़ रहा है। जिसमें उनके समय और धन की बर्बादी हो रही है। यहां लक्ष्मण सिंह कनवाल, नारायण सिंह हरड़िया, धन सिंह, महेश चौबे, प्रकाश कनवाल, नारायण सिंह दुबड़िया, मोहन सिंह मेहता, मादो सिंह कोरंगा रहे।

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