उत्तराखंड

पारेषण लाइन नहीं होने से बंदी की कगार पर हाइड्रो पावर कंपनी

Spread the love
Backup_of_Backup_of_add

बागेश्वर। ऊर्जा क्षेत्र में योगदान दे रही कपकोट की दो कंपनियों पर बंद होने का खतरा मंडराने लगा है। पारेषण लाइन नहीं होने की वजह से यह समस्या आ रही है। कंपनी कर्मियों ने इस समस्या से जिलाधिकारी को भी अवगत कराया है। उत्तर भारत हाइड्रो पावर व पीपीएल के शिष्टमंडल जिलाधिकारी रीना जोशी से मिले। उन्होंने अपनी समस्या का ज्ञापन सौंपा। शिष्टमंडल ने बताया कि जुलाई और अगस्त में पर्याप्त पानी होने के बाद भी उपाकालि के पास परियोजना से जनित्र ऊर्जा के पारेषण के लिए उचित पारेषण लाइन नहीं होने के कारण कंपनी अपनी कुल उत्पादित क्षमता के अनुरूप उत्पादन नहीं कर पा रही है। पूर्व में भी कंपनी ने पहले भी समस्या से अवगत कराया था। 16 जनवरी 2020 को पेंथर लाइन चार्ज की गई थी तब कपंनी को भरोसा था कि जल्द ही पारेक्षण लाइन की समस्या दूर हो जाएगी। साथ ही क्षेत्र के लोगों को भी उम्मीद थी कि नया 132 उपकेंद्र चालू होने से बागेश्वर जिले की लो वोल्टेज की समस्या दूर होगी। ब्रेकडाउन में कमी आएगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। 2020, 2021, 2022 का मानसूत्र सत्र आते ही 33 केवी कपकोट बागेश्वर सप्लाई 33 केवी सुचारु रूप से नहीं चल पाई। उन्होंने बताया कि डीएम से उत्तराखंड पावर कर्पोरेशन के ईई को पेंथर लाइन की खामियों को दूर करने का आदेश दिया है एवं मैनवावर व संशाधन निर्बाद रूप से विद्युत सप्लाई के लिए निर्देश दिए है। प्रदेश व देश में चल रही विद्युत कमी का संज्ञान लेते हुए विद्युत उत्पादकों की ग्रिड सप्लाई किसी भी तरह नहीं रोकने की मांग की है। ज्ञापन सौंपने वालों में पर्वती पावर लिमिटेड प्रबंधक राजेश उपाध्याय तथा उत्तर भारत पावर लिमिटेड प्रबंधक कमलेश जोशी, नीरज जोशी आदि शामिल रहे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!