चकराता क्षेत्र में दूसरे दिन भी बारिश और ओलावृष्टि
विकासनगर। रविवार को दूसरे दिन भी चकराता क्षेत्र में बारिश और ओलावृष्टि हुई। दोपहर बाद झमाझम बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों की वर्षभर की मेहनत को चौपट कर दिया है। गत सप्ताह से बार-बार बदल रहे मौसम ने किसानों के चेहरों पर चिंता की लकीरें खींच दी हैं। जौनसार-बावर क्षेत्र में इस बार मौसम का मिजाज किसानों पर भारी पड़ रहा है। गत सप्ताह बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों की फसलों को बर्बाद किया। हालांकि, इसके बाद मौसम साफ बना हुआ था। दिन के समय धूप भी खिल रही थी। लेकिन, शनिवार शाम अचानक मौसम ने करवट बदल ली। देखते ही देखते झमाझम बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों की फसलों को बर्बाद कर दिया। इसके बाद रविवार को भी मौसम ने किसानों की रही सही कसर पूरी कर दी। दोपहर तक साफ बना रहा मौसम अचानक फिर बदल गया। जिसके बाद झमाझम बारिश और ओलोवृष्टि शुरू हो गई। बारिश और ओलावृष्टि से परेशान किसान मेहर चंद, सुरेश तोमर, आनंद सिंह, मुकेश तोमर, अजब सिंह, सुरेन्द्र सिंह आदि ने बताया कि इस बार मौसम का मिजाज समझ से परे बना हुआ है। पहले कम बारिश होने से फसलें सूख रही थी। इसके बाद अचानक बारिश और ओलावृष्टि होने से फसलें चौपट हो गई हैं। बताया कि क्षेत्रीय लोगों का प्रमुख व्यवसाय खेती बाड़ी है। इसी के भरोसे क्षेत्रवासी जीवन यापन करते हैं। लेकिन, फसलें बर्बाद होने से उनके सामने आजीविका का संकट खड़ हो गया है। उन्होंने स्थानीय प्रशासन के साथ प्रदेश सरकार से बर्बाद फसलों का उचित मुआवजा देने की मांग की है। उधर, शनिवार के बाद दूसरे दिन भी बारिश और ओलावृष्टि से पूरा क्षेत्र दोबारा ठंड की चपेट में आ गया है। रविवार शाम चार बजे भी क्षेत्र का अधिकतम तापमान 18 और न्यूनतम 10 डिग्री तक लुढका रहा। बारिश और ठंड के चलते अंधेरा होने से पहले ही लोग घरों में दुबक गये।