उत्तराखंड

जिला पंचायत सदस्यों की उपेक्षा का आरोप लगाया

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बागेश्वर। कपकोट के पूर्व विधायक ने जिला प्रशासन और प्रदेश सरकार पर आंदोलित जिला पंचायत सदस्यों की उपेक्षा का आरोप लगाया है। उन्होंने आंदोलित सदस्यों की बात न सुनने पर अब दो दिन का उपवास शुरू कर दिया है। गोमती पुल से वह कांग्रेस कार्यकर्ताओं के साथ जुलूस की शक्ल में कलक्ट्रेट पहुंचे। इस दौरान ललित तुम संघर्ष करो, हम तुम्हारे साथ है, जिला प्रशासन और जिला पंचायत मुर्दाबाद आदि नारे के साथ समूचा क्षेत्र गुंजायमान रहा। सोमवार को पूर्व विधायक ललित फर्स्वाण गरुड़ से वाहन में गोमती पुल पर पहुंचे। इसके बाद वे कांग्रेस कार्यकर्ताओं के साथ ढोल नगाड़ों के साथ जुलूस की शक्ल में कलक्ट्रेट पहुंचे। यहां जुलूस सभा में तब्दील हो गई। सभा में फर्स्वाण ने कहा पिछले डेढ़ महीने से निर्वाचित जिला पंचायत सदस्य आंदोलन की राह पर हैं। सत्ता की हनक में जिला पंचायत अध्यक्ष और सरकार के इशारे पर जिला प्रशासन उनकी सुनने को तैयार नहीं है। सरकार ने विकास कार्यों को गति देने के लिए कोई प्रयास नहीं किया है। उन्होंने खुद कई बार शासन-प्रशासन को मौखिक तथा शपथपत्र के साथ जानकारी दी थी। उस पर अभी कोई कार्रवाई नहीं हुई है। इस दौरान उन्होंने जिला पंचायत में हुई बंदरबांट की जांच की मांग की। कहा निर्वाचित सदस्यों की बात नहीं सुना जाना लोकतंत्र के लिए गंभीर खतरा है। इसके बाद वह दो दिन के उपवास पर बैठ गए। इस दौरान पुलिस भी तैनात रही। इस दौरान जिलाधिकारी ने पूर्व विधायक को वार्ता के लिए अपने चैंबर में बुलाया। लेकिन उन्होंने कहा वे अब उपवास पर बैठ गए हैं। वार्ता के लिए मंगलवार को ही आएंगे। यहां जिलाध्यक्ष लोकमणि पाठक, बालकृष्ण, राजेंद्र टंगड़िया, लक्ष्मण आर्या, सुनीता टम्टा, लक्ष्मी धमर्शक्तू, वीरेंद्र नगरकोटी, हरीश जोशी, गिरीश जोशी आदि रहे।

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