उत्तराखंड

राष्ट्रीय स्वयसेवकों ने सितारगंज में निकाला पथ संचलन

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रुद्रपुर। नव वर्ष और प्रतिपदा के उपलक्ष्य में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने बुधवार को शहर में पथ संचलन निकाला। जगह-जगह लोगों के द्वारा पुष्प वर्षा कर स्वयंसेवकों का उत्साहवर्धन किया। सरस्वती विद्या मंदिर इण्टर कलेज के परिसर में स्वयंसेवक एकत्र हुए। यहां से पथ संचलन शुरू किया। जो किच्छा रोड, खटीमा रोड होते हुए विद्या मंदिर में सम्पन्न हुआ। पथ संचलन में स्वयंसेवक घोष की ताल पर कदम से कदम मिलाकर चल रहे थे। पूर्ण गणवेश में स्वयंसेवकों को देखकर पथ संलन देखने के लिए सड़क के दोनों तरफ लोग खड़े रहे। इस बीच स्वयंसेवकों का पुष्प वर्षा के साथ लोगों ने जगह-जगह स्वागत किया। इससे पूर्व कार्यक्रम स्थल पर मुख्य वक्ता आरएसएस के प्रांत सद्भाव प्रमुख कैलाश थपलियाल ने कहा कि भारत को हजार वर्षों के संघर्ष के बाद स्वाधीनता मिली है। इस स्वतंत्रता का उद्देश्य चिर-पुरातन राष्ट्र को पुनरू वैभवशाली बनाना है। पूरे भारतवर्ष को एक समाज के रूप में प्रतिष्ठित करना संघ की सोच है। उन्होंने कहा कि प्रत्येक समाज, राष्ट्र और जन समूह को अपना इतिहास ठीक प्रकार से समझना चाहिए। जो समाज या राष्ट्र अपने इतिहास की गलतियों से सीख नहीं लेता, उसका अस्तित्व समाप्त हो जाता है। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक ड़क केशव बलिराम हेडगेवार ने इतिहास की गलतियां दोबारा न हों, इसके लिए संघ की स्थापना की थी। अध्यक्षता शीतल सिंघल ने की। यहां जिला प्रचारक जितेंद्र, नगर प्रचारक चंद्रशेखर, नगर कार्यवाह मुकेश श्रीवास्तव, सह नगर संघचालक सुरेश जोशी, जिला बौद्घिक प्रमुख संतोष मिश्रा, हुकुम चंद्र मोरिजावाला, कमल कुमार जिंदल, महेश मित्तल, राजकुमार, अनिल गर्ग, अनिल मित्तल, राजेंद्र मित्तल, नवीन गोयल, विनय गुप्ता, अजय क्वीरा, कुलदीप गंगवार आदि रहे।

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