फरेस्ट के हर अधिकारी-कर्मचारियों की जिम्मेदारी जंगल को बचाना: रसाईली
हल्द्वानी। वानिकी प्रशिक्षण अकादमी (एफटीआई) के दीक्षांत समारोह में अपर प्रमुख वन संरक्षक एसएस रसाईली ने कहा कि फरेस्ट के हर अधिकारी और कर्मचारी की जिम्मेदारी जंगल को बचाना है। जिसके लिए उन्हें हमेशा समर्पित होकर कार्य करना चाहिए। उन्होंने कहा कि एफटीआई हल्द्वानी से पास हुए 41 रेंजर्स की जिम्मेदारी होगी वह अपने क्षेत्रों में जाकर जंगलों को बचाने का कार्य करें। प्रशिक्षण उत्ष्ट प्रदर्शन करने वालों प्रशिक्षणार्थियों को पुरस्त किया गया।
रामपुर रोड स्थित एफटीआई में शुक्रवार को पश्चिम बंगाल के 41 रेंज अधिकारियों का दो वर्षीय प्रशिक्षण पूरा होने पर दीक्षांत समारोह का आयोजन किया गया। दीक्षांत समारोह का शुभारंभ अपर प्रमुख वन संरक्षक एसएस रसाईली व अकादमी निदेशक ड़ तेजस्विनी पाटिल ने किया। प्रशिक्षण में बेहतर प्रदर्शन कर ड़ सुदीप्ता हजारा ने 81़45 प्रतिशत अंक हासिल किए। उन्हें स्वर्ण पदक से सम्मानित किया गया। योजना थापा ने 80़62 प्रतिशत अंक हासिल कर रजत और मधुमिता पात्र ने 79़36 प्रतिशत अंक लेकर कांस्य पदक जीता। एपीसीसीएफ रसाईली ने सभी रेंज अधिकारियों को पुरस्त किया। उप निदेशक ड़ अभिलाषा सिंह ने लोगों को एफटीआई की गतिविधियों के बारे में जानकारी दी।
अकादमी की निदेशक ड़ पाटिल ने बताया कि पश्चिम बंगाल के 41 रेंज अधिकारियों का 2021-2023 के बैच का प्रशिक्षण पूरा हुआ है। प्रशिक्षण में 13 महिला व 28 पुरुष अधिकारी शामिल रहे। प्रशिक्षण के दौरान उन्हें 19 विषयों के अतिरिक्त जीपीएस, कंप्यूटर, ट्रैंकुलाइजेशन, कैमरा ट्रैप, स्नेक रेस्क्यू, ड्रोन संचालन, जंगल सरवाइवल की ट्रेनिंग दी गई। पुस्तकीय ज्ञान के साथ व्यवहारिक ज्ञान, खेलकूद, योग, व्यायाम व अनुशासन का भी महत्व सिखाया गया। सभी रेंजर्स दो साल के कठिन प्रशिक्षण के बाद रेंजर्स बने हैं।
रेंज एडमिनिस्ट्रेशन में भी सुदीप्ता आगे रहे
निदेशक ड़ पाटिल ने बताया कि प्रशिक्षण में 13 प्रशिक्षणार्थी विशिष्ट योग्यता व 28 उत्तीर्ण हुए। इसके अलावा रेंज एडमिनिस्ट्रेशन में ड़ सुदीप्ता हाजरा, ईकोलजी में नबांकुर घोष, सर्वे एवं इंजीनियरिंग में शिलादित्य आचार्य, वानिकी में ड़ सुदीप्ता हाजरा ने सर्वोच्च स्थान हासिल किया।